जब दिल्ली में बारिश होती है,तो हममें से ज्यादातर लोग खिड़की से बाहर देखकर या तो राहत की सांस लेते हैं या फिर ऑफिस से घर जाते समय लगने वाले ट्रैफिक जाम के बारे में सोचकर परेशान होते हैं। लेकिन हम कभी यह नहीं सोचते कि यही बारिश किसी की जान भी ले सकती है।महरौली इलाके में एक40साल के शख्स के लिए,दिल्ली की यह बारिश उसकी जिंदगी की आखिरी बारिश साबित हुई। एक ऐसी दर्दनाक घटना,जो सिर्फ एक हादसा नहीं,बल्कि हमारे सिस्टम पर एक बड़ा सवालिया निशान है।सड़क बनी नदी और नाला बन गया मौत का कुआंहुआ यूं कि तेज बारिश के कारण महरौली की एक सड़क पर पानी इतनी तेजी से और इतने ज्यादा दबाव के साथ बहने लगा कि वह एक उफनती हुई नदी बन गई। उस शख्स को शायद इस बात का अंदाजा भी नहीं होगा कि पानी का यह बहाव कितना खतरनाक हो सकता है।देखते ही देखते पानी का तेज बहाव उस शख्स को अपने साथ खींच ले गया और उसकी दर्दनाक मौत की वजह बना सड़क पर खुला पड़ा एक नाला। पानी का बहाव उसे सीधे उस खुले नाले में ले गया,जहां डूबने से उसकी मौत हो गई।यह सिर्फ एक हादसा नहीं,एक सवाल हैयह घटना हमें यह सोचने पर मजबूर करती है कि आखिर ऐसी घटनाओं का जिम्मेदार कौन है?हर साल दिल्ली,मुंबई और गुरुग्राम जैसे‘स्मार्ट शहरों’से ऐसी तस्वीरें सामने आती हैं जहां कुछ ही घंटों की बारिश जिंदगी को रोक देती है। सड़कें नदियों में बदल जाती हैं और खुले हुए मैनहोल या नाले‘मौत के कुएं’बनकर किसी की जिंदगी निगलने का इंतजार करते हैं।इस शख्स की मौत सिर्फ पानी में डूबने से नहीं हुई है,यह उस लापरवाही का नतीजा है जो सालों से हमारी आंखों के सामने होती आ रही है। जब तक इसका कोई स्थायी समाधान नहीं निकलता,तब तक शायद हर बारिश अपने साथ किसी के लिए राहत और किसी के लिए मातम लाती रहेगी।
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