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दिल के दौरे का खतरा अब न केवल बुज़ुर्गों में, बल्कि युवाओं और महिलाओं में भी बढ़ रहा है। विशेषज्ञों द्वारा किए गए एक अध्ययन के अनुसार, संयुक्त राज्य अमेरिका में लगभग 6 करोड़ महिलाएं दिल के दौरे से पीड़ित हैं। अकेले 2023 में, 3 लाख से ज़्यादा महिलाओं की मौत दिल के दौरे से हुई। यानी हर पाँच में से एक मौत दिल के दौरे के कारण होती है। हालाँकि, रोग नियंत्रण और रोकथाम केंद्र की 2024 की एक रिपोर्ट के अनुसार, केवल 56 प्रतिशत अमेरिकी महिलाओं को ही पता है कि हृदय रोग उनकी सबसे बड़ी जानलेवा बीमारी है। इसके शुरुआती लक्षण और महिलाओं में दिखने वाले लक्षण सामान्य लगते हैं, लेकिन वास्तव में ऐसा नहीं है।
लगभग सभी महिलाएं अपनी पारिवारिक ज़िम्मेदारियों और काम में इतनी व्यस्त रहती हैं कि वे अपने स्वास्थ्य की उपेक्षा कर देती हैं। इसलिए, अक्सर दिल के दौरे के लक्षणों या यहाँ तक कि दिल के दौरे के संकेतों को भी अनदेखा कर देती हैं। हाल ही में, सोशल मीडिया पर व्यापक रूप से लोकप्रिय, डबल बोर्ड-प्रमाणित एमडी और हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. कुणाल सूद ने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो साझा किया। इसमें उन्होंने महिलाओं में दिल के दौरे के चार सूक्ष्म लक्षणों का उल्लेख किया है।
पहला महत्वपूर्ण लक्षण है सीने में अचानक जलन या दर्द होना। यह दर्द बीच में महसूस होता है और अक्सर सीने में साँस लेने में तकलीफ जैसा महसूस होता है। दूसरा यह कि सिर्फ़ सीने में ही नहीं, बल्कि शरीर के अन्य हिस्सों जैसे बाँहों, पीठ, गर्दन, मुँह या पेट में भी दर्द होना हृदय संबंधी समस्या का लक्षण हो सकता है। तीसरा लक्षण है साँस लेने में तकलीफ़। यह दर्द सीने में दर्द के साथ या उसके बिना भी हो सकता है। चौथा लक्षण है ठंडा पसीना आना, जी मिचलाना या चक्कर आना। ये लक्षण आमतौर पर फ्लू या एसिडिटी जैसे लगते हैं और इसलिए महिलाएं इन पर गंभीरता से ध्यान नहीं देतीं।
विशेषज्ञों के अनुसार, कई महिलाओं को लगता है कि ये लक्षण बहुत मामूली हैं या उम्र बढ़ने के कारण हैं। लेकिन वास्तव में, ये दिल के दौरे से पहले की गंभीर चेतावनी हैं। नेशनल हार्ट, लंग एंड ब्लड इंस्टीट्यूट की एक रिपोर्ट के अनुसार, दिल के दौरे के दौरान महिलाओं में होने वाले सामान्य लक्षणों में कंधे, पीठ या बाँह में दर्द, साँस लेने में तकलीफ़, अप्रत्याशित थकान, पेट दर्द और घबराहट शामिल हैं। इसलिए, विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि हमें अपने शरीर द्वारा दिए गए संकेतों को कभी भी नज़रअंदाज़ नहीं करना चाहिए और तुरंत डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए।
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